विपक्ष की नारेबाजी के बीच पीएम मोदी मोदी ने कहा कि हमने सामाजिक न्याय, दो वक्त की रोटी जैसी समस्याओं का समाधान निकाला है, आपने इसका समाधान नहीं निकाला था. हम आजाद भारत के सपनों को पूरा करने के लिए संकल्पबद्ध होकर चले हैं. विपक्ष को संबोधित करते हुए पीएम मोदी ने सीना ठोकते हुए कहा कि सभापति जी देश देख रहा है एक अकेला कितनों पर भारी पड़ रहा है…. एक अकेला कितनों को भारी पड़ रहा है. नारे बोलने के लिए भी इनको (सांसदों को) बदलना पड़ता है. दो मिनट ये बोलता है. घंटे भर से आवाज दबी नहीं है.
पीएम मोदी ने कहा कि आदरणीय सभापति जी ये कनविक्शन के कारण चला हुआ है. देश के लिए जीता हूं. देश के लिए कुछ करने के लिए निकला हूं. और इसलिए ये राजनीतिक खेल खेलने वाले लोग उनके अंदर ये हौसला नहीं है वे बचने का रास्ता खोज रहे हैं.
इससे पहले पीएम मोदी ने कहा कि यह सदन राज्यों का सदन है बीते दशकों में अनेक बुद्धिजीवियों ने सदन से देश को दिशा दी. सदन में ऐसे लोग भी बैठे हैं जिन्होंने अपने जीवन में कई सिद्धियां प्राप्त की है. सदन में होने वाली बातों को देश गंभीरता से सुनता और लेता है. लेकिन यह दूर्भाग्यपूर्ण है कि सदन में कुछ लोगों का व्यवहार और वाणी न सिर्फ सदन को बल्कि देश को निराश करने वाली है. माननीय सदस्यों को मैं कहूंगा कि कीचड़ उसके पास था मेरे पास गुलाब… जो भी जिसके पास था उसने दिया उछाल’. जितना कीचड़ उछालोगे कमल उतना ज़्यादा खिलेगा.